वाराणसी - सविता शर्मा ।
माघ मेला प्रयागराज में जमीन आवंटन में लगे कर्मचारियों द्वारा भ्रष्ट तरीके से धन कमाने के चक्कर में की जा रही धांधली को लेकर बवण्डर मचा हुआ है, जो कि अत्यंत दुर्भाग्यपूर्ण है |
श्री काशी सुमेरु पीठाधीश्वर जगद्गुरु शंकराचार्य स्वामी नरेन्द्रानन्द सरस्वती जी महाराज ने कहा कि सनातन धर्म के मानने वालों के लिए यह मेले, चाहे वह कुंभ का मेला हो, अर्ध कुंभ का मेला हो, या प्रयागराज में लगने वाला वार्षिक माघ मेला हो, आस्था और श्रद्धा का विषय है |लेकिन विगत 20 साल से मेला में जमीन आवंटन में लगे हुए कुछ कर्मचारियों ने इसे अपने कमाई का माध्यम बना लिया है, जिनकी बराबर शिकायत आती है, और इन्हीं के धन लिप्सा के कारण प्रत्येक वर्ष विवाद खड़ा होता रहता है | ये भ्रष्ट कर्मचारी पैसा लेकर पुरानी संस्थाओं की जमीन नई संस्थाओं को बेच देते हैं |
पूज्य जगद्गुरु शंकराचार्य जी महाराज ने इस पर अपनी कड़ी प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए कहा कि मेला प्रशासन २०१० से २०१६ तक हुए जमीन आवन्टन के आधार पर जमीन का आवन्टन करे | और विगत बीसों साल से कुंडली जमाए जो भ्रष्ट और बेईमान कर्मचारी जमीन आवंटन में लगे हैं, इनके काले कारनामों पर रोक लगाये | पूज्य श्री ने कहा कि यदि इसी प्रकार से भ्रष्टाचार और धांधली चलती रही तो मेला प्रशासन को इसके गंभीर परिणाम भुगतने पड़ सकते हैं | इसलिए समय रहते मेला प्रशासन को भगवान सद्बुद्धि दें और मेला प्रशासन माघ मेला को कमाई का माध्यम ना बना कर आस्था के मेला को आस्था का मेला ही रहने दें |
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